राजनीति में ऐसी नीचता पहले कभी नहीं देखी गई। यह यात्रा अपमान, घृणा और स्तरहीनता की सारी हदें पार कर चुकी है।
तेजस्वी और राहुल ने पहले बिहार के लोगों का अपमान करने वाले स्टालिन और रेवंत रेड्डी जैसे नेताओं को अपनी यात्रा में बुलाकर बिहारवासियों को अपमानित कराया। अब उनकी हताशा की स्थिति यह है कि वे प्रधानमंत्री मोदी जी की पूज्य स्वर्गीय माताजी को गाली दिलवा रहे हैं।
तेजस्वी और राहुल ने अपने मंच से इतनी गंदी भाषा का प्रयोग कराया है कि उसे सार्वजनिक मंच पर दोहराना भी संभव नहीं।
यह ऐसी गलती है कि राहुल और तेजस्वी अगर हज़ार बार कान पकड़कर उठक-बैठक करके भी माफ़ी मांगें, तब भी बिहार की जनता उन्हें माफ़ नहीं करेगी।
बेहद शर्मनाक!